पं. रविशंकर शुक्‍ल विवि में कुर्क कार्रवाई विश्वविद्यालय की प्रतिष्ठा पर चोट

 

रायपुर । पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय में पिछले दिनों हुई संपत्ति कुर्क की कार्रवाई से विश्वविद्यालय के साथ इससे जुड़े शिक्षाविद् भी नाराज हैं। मामले को लेकर इतिहास संस्कृति व पुरातत्व विभाग के पूर्व विभागाध्यक्ष प्रो. डा. रमेंद्रनाथ मिश्र ने कहा कि संपत्ति के साथ ही कुलपति की गाड़ी कुर्क कर लेना विश्वविद्यालय की प्रतिष्ठा पर चोट है। विश्वविद्यालय न सिर्फ राज्य का गौरव है, बल्कि यह लाखों छात्रों के भविष्य इससे जुड़ा है। मैं वर्षों विश्वविद्यालय से जुड़ा रहा। आज तक कभी ऐसी घटना नहीं हुई। वर्तमान परिस्थितियों में जमीन अधिग्रहण मामला कोर्ट में था, कुर्क की कार्रवाई से पहले कई प्रक्रियाएं हुई होंगी। ऐसे में शासन-प्रशासन स्तर पर यह बेहद गंभीर लापरवाही है। राज्य शासन अपने स्तर पर उच्च स्तरीय जांच कर दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई करे।

जमीन विवाद का नाता पुराना

रविवि कर्मचारी संघ के अध्यक्ष श्रवण सिंह ठाकुर ने कहा कि वर्तमान में जमीन अधिग्रहण मामले में कुर्की प्रक्रिया से विश्वविद्यालय की छवि धूमिल हुई है। प्रशासनिक अधिकारियों की लापरवाही से ऐसी नौबत आई, लेकिन वर्ष-2014 में भी इसी प्रकार के जमीन का विवाद सामने आया था। इसमें विश्वविद्यालय ने महिला छात्रावास के पीछे कंचन गंगा कालोनी के पास के करोड़ों रुपये की जमीन छोड़ दी थी। तब संघ ने प्रदेश के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव से शिकायत करने पर विवि द्वारा संपदा सुरक्षा समिति का गठन किया था।

रविवि की कुर्की सरकार की विफलता : आप

आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष कोमल हुपेंडी कहा कि प्रदेश के नामी विश्वविद्यालय में कुलपति और रजिस्ट्रार की गाड़ियां जब्त होना दुर्भाग्यजनक है। यह राज्य सरकार की विफलता है। जब सरकार विश्वविद्यालय की ही संपत्ति नहीं बचा पा रही तो छात्रों का भविष्य क्या होगा, यह समझा जा सकता है। दिल्ली में गुणवत्ता शिक्षा के केजरीवाल माडल की नकल करके रंगरोगन और चार कमरे, टाइल्स आदि लगाने बस से कुछ नहीं होता, शिक्षा का स्तर भी सुधारना जरूरी है।