नई
दिल्ली । तीन राज्यों में निराशाजनक नतीजों का सामना कर रही कांग्रेस को
तमिलनाडु की इरोड पूर्व सीट से बड़ी सफलता मिलती दिख रही है। यहां उसके
कैंडिडेट ईवीकेएस इलानगोवन एआईएडीएमके उम्मीदवार केएस थेन्नारासु के
मुकाबले 25,000 वोट से आगे चल रहे हैं। अब तक हुई वोटों की गिनती के अनुसार
इलानगोवन को 46,179 वोट मिल चुके हैं, जबकि थेन्नारासू को अब तक 16,777
वोट ही मिले हैं। पिछले दो चुनावों में इस सीट पर कड़ा मुकाबला देखने को
मिला था। 2021 में हुए चुनाव में इस सीट पर इलानगोवन के बेटे तिरुमहान
एविरा को 8,904 वोटों से जीत मिली थी। तिरुमहान ने एआईएडीएमके के कैंडिडेट
एम. युवराज को 8,904 वोटों से मात दी थी। लेकिन जनवरी में तिरुमहान की मौत
होने के चलते यहां चुनाव कराना पड़ा है। इसके बाद कांग्रेस ने तिरुमहान के
पिता इलानगोवन को ही टिकट दे दिया, जो जीत की ओर हैं। माना जा रहा है कि
बेटे की मौत की सहानुभूति के चलते भी इलानगोवन के पक्ष में इतने बड़े
पैमाने पर वोटिंग हुई है। इससे पहले 2016 में इस सीट पर एआईएडीएमके के
मौजूदा उम्मीदवार थेन्नारासु को 7,794 वोटों के मामूली अंतर से जीत मिली
थी। तब थेन्नारासु को 64879 वोट मिले थे, जबकि डीएमके के उम्मीदवार वीसी
चंदिराकुमार को 57 हजार मत ही मिले थे। कांग्रेस के लिए इरोड पूर्व सीट की
जीत उत्साह बढ़ाने वाली है। त्रिपुरा, मेघालय और नागालैंड के विधानसभा
चुनाव में निराशाजनक प्रदर्शन के बीच उसके लिए यह प्रदर्शन उत्साह बढ़ाने
वाला है। इरोड के अलावा कांग्रेस को महाराष्ट्र की कसबा पेठ विधानसभा सीट
के लिए हुए उपचुनाव में भी सफलता मिली है। अभी वोटों की गिनती जारी है,
लेकिन एआईएडीएमके के नेता थेन्नारासु ने अपनी हार मान ली है। उन्होंने कहा
कि लोकतंत्र हार गया है और पैसे को जीत मिली है।
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