एम एस धोनी ने टीम इंडिया के भविष्य को ध्यान में रखते हुए लिया फैसला, पूर्व पाक गेंदबाज ने कही यह बात

 


एमएस धोनी के आईपीएल 2022 शुरू होने से ठीक दो दिन पहले चेन्नई सुपर किंग्स (सीएसके) की कप्तानी छोड़कर ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा को कप्तान बना दिया. यह न केवल फ्रेंचाइजी के सदस्यों के लिए बल्कि प्रशंसकों के लिए भी एक बड़ा झटका था. कई लोगों ने रवींद्र जडेजा को नये कप्तान के रूप में नामित करने के आह्वान का समर्थन किया है. पिछले कुछ वर्षों में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में उनका शानदार प्रदर्शन रहा है.

कनेरिया ने धोनी के फैसले का किया समर्थन

पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर दानिश कनेरिया भी इस बहस में शामिल हुए हैं. उन्होंने कहा कि एम एस धोनी का यह निर्णय "दूरगामी" था और धोनी के दिमाग में अन्य योजनाएं थीं. आईएएनएस से बात करते हुए कनेरिया ने धोनी के फैसले का समर्थन किया. उन्होंने कहा कि हम सभी जानते हैं कि धोनी किस तरह के खिलाड़ी हैं. उनके फैसले हमेशा सही होते हैं. मुझे लगता है कि वह विश्व क्रिकेट के सर्वश्रेष्ठ कप्तानों में से एक हैं.

धोनी ने चेन्नई के लिए 4 बार जीता है आईपीएल खिताब

कनेरिया ने कहा कि धोनी ने 50 ओवर का विश्व कप जीता है, उन्होंने टी-20 विश्व कप जीता है, उन्होंने चैंपियंस ट्रॉफी जीती है और चेन्नई सुपर किंग्स के लिए चार बार आईपीएल जीता है. इसके अलावा कई मैच ऐसे भी हैं जो धोनी के ऑन-फील्ड फैसले की वजह से भारत ने जीते. इसलिए मुझे लगता है कि जडेजा को कप्तानी देना दूरगामी फैसला है. देखिए, भारतीय टीम संतुलित है और सभी प्रारूपों में उसकी कप्तानी करना आसान काम नहीं है.

भारत की कप्तानी करना आसान काम नहीं

कनेरिया ने आगे कहा कि विराट कोहली बहुत अच्छे थे, लेकिन उन्होंने कप्तानी छोड़ दी है. अब रोहित शर्मा को तीनों फॉर्मेट में कप्तानी करनी है. कोई इसे माने या न माने, खेल के सभी प्रारूपों में भारत की कप्तानी करना दबाव का काम है. पाकिस्तान के पूर्व स्पिनर को लगता है कि देर-सबेर भारत को जिम्मेदारी लेने के लिए एक खिलाड़ी की आवश्यकता होगी और जडेजा उनमें से एक हो सकते हैं.

विभाजित कप्तानी पर भारत को करना होगा विचार

उन्होंने कहा कि धोनी ने भारतीय कप्तानी के भविष्य को ध्यान में रखते हुए यह फैसला किया. आज या कल, भारत को विभाजित कप्तानी के बारे में सोचना होगा. नहीं तो रोहित दबाव में होंगे और ऐसा होना तय है. अगर भारतीय टीम के गठन की बात करें तो कुछ ही खिलाड़ी टीम में अपनी जगह पक्की कर पाते हैं और जडेजा उनमें से एक हैं. ऐसे में मुझे लगता है कि धोनी का फैसला भविष्य को ध्यान में रखकर लिया गया है.